# सपनों में रख आस्था कर्म तू किए जा, त्याग से ना डर आलस परित्याग किए जा ।
गलती कर ना घबरा गिरकर फिर हो जा खड़ा।
समस्याओं को रास्तों से निकाल दे, चट्टान भी हो तो ठोकर से उछाल दे ।
रख हिम्मत तूफानों से टकराने की, जरूरत नही है किसी मुसीबत से घबराने की ।
जो पाना है बस उसकी एक पागल की तरह चाहत कर, करता रह कर्म मगर साथ में खुदा की इबाबत भी कर ।
फिर देख किस्मत क्या क्या रंग दिखलाएगी तुझको तेरी मंजिल मिल जाएगी, मंजिल मिल जाएगी।*Copied*
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